हेलो दोस्तों, मैं वंश एक बार फिर लौट आया हूँ एक और हवस से भरी कहानी के साथ।
कहानी शुरू करने से पहले आप सब को यह बता दू की मेरे पेरेंट्स ने पंद्रह साल पहले ही डाइवोर्स ले लिया था
जिसकी वजह से मुझे और मेरी बहन को अलग रहना पड़ता था।
मैं अपनी माँ के साथ और मेरी बहन बाप के साथ।
हम दोनों एक साल में तकरीबन दो या तीन बार ही मिल पाते थे।
लेकिन जब भी हम मिलते थे तो ज्यादतर वक़्त एक साथ ही बिताते थे।
मैं अभी बीस साल का हूँ।
जैसा की मेने आपको बताया की मैं बस बीस साल का हूँ
लेकिन साथ ही मैंने कई लड़कियों के साथ कामुक सम्बन्ध बनाये है।
उन्ही लड़कियों की लिस्ट में एक नाम और जुड़ने जा रहा है जिसके बारे में मैं आपको इस कहानी में बताऊंगा।
मेरा सबसे बड़ा राज़ लड़कियों को अपने सामने टांग उठाने पर मज़बूर करने के लिए है मेरी बॉडी जिसमे मैंने बहुत अच्छे से मेन्टेन किया था।
यही नहीं बल्कि मेरा लंड भी बहुत मोटा और टाइट था जिसकी वजह कोई भी लड़की एक बार मुझसे चुदने के बाद दुबारा मुझे उसे चोदने पर मज़बूर हो जाती हैं! ( Antarvasna )
तो दोस्तों, आज की कहानी में मैं अपनी किसी खास और बहुत करीबी को चोदुँगा।
जी हाँ, आप सभी बिलकुल सही समझे। मैं अपनी बहन की बात कर रहा हु।
बात है तब की जब वो हमारे घर कुछ दिनों के लिए रहने आयी थी।
मेरी माँ अकेली थी तो वो पूरा दिन अपनी जॉब पर रहती थी और मैं ज्यादातर घर पर।
जब मेरी बहन आयी तब भी घर का हाल कुछ ऐसा ही था।
मेरी माँ पूरा दिन अपने काम पर रहती और मैं और मेरी बहन हम दोनों घर पर अकेले।
तभी एक दिन जब हम दोनों बहुत बोर हो रहे थे तो हमने एक गेम खेलने के बारे में प्लान बनाया।
गेम थोड़ी एडल्ट और हवस से भरी थी।
पहले तो मेरी बहन ने वो गेम खेलने से मना कर दिया लेकिन बाद में वो मान गयी।
तो गेम में मैं अपनी बहन की आँखों में पट्टी बांध कर उसे पांच आइस-क्रीम के स्वाद के बारे में पूछूंगा।
लेकिन उसकी आँखों में पट्टी होगी और उसे आइस-क्रीम सीधा अपने मुँह में लेनी होगी।
जब मेने उसकी आंख बंद करी और उसे गुठनो पर बैठाया, मेरा शैतानी और मोटा लंड खड़ा हो गया।
उसकी आँखों में पट्टी थी इसीलिए मैंने अपना लंड अपने पाजामे से बहार निकल लिया और वो उसके मुँह के आगे ही लटक रहा था। तभी मेने उसे पहली आइस-क्रीम खिलाई और उसका स्वाद पूछा।
पहली बारी में तो मेरी बहन ने सही जवाब दिया और फिर मेने उसे थोड़ी देर वो आइस-क्रीम चुसाई।
जिस तरीके से वो उसे चूस रही थी मेरा लंड और ज्यादा सख्त हो रहा था और अब उछलने लगा था।
तभी मेने दूसरी आइस-क्रीम खोली और उसे चुसाने लगा। उसे उसका स्वाद भी बिलकुल सही बता दिया।
तभी मेरे दिमाग में एक आईडिया आया और मेने उसे उसे किया।
मेने तीसरा पैकेट खोलने के बाद आइस-क्रीम को अपने मोठे एंड गरम लंड पर मसला और उस पर उसका स्वाद आ गया।
फिर मेने वो लंड अपनी बहन को चुसाया लेकिन हल्का सा।
पहले तो वो समझ नहीं पायी तो उसने फिर से मेरे सख्त लंड के सामने अपना मुँह खोल दिया।
मेने उसकी जीभ पर फिर से अपना गर्म लंड टच किया लेकिन वो फिर से कुछ समझ नहीं पायी।
तब मेने अपने लंड पर थोड़ी ज्यादा सी आइस-क्रीम लगाई और अपना पूरा लंड उसके मुँह में डाल दिया।
वो हैरान हो गयी क्योकि इस शेप की हमारे पास कोई भी आइस-क्रीम नहीं थी।
वो अपनी आँखों पर से पट्टी हटाने के लिए बढ़ाने लगी लेकिन मेने उसे रोक लिया।
और उसका सर पकड़ कर उसे अपना लंड चुसाने लगा।
वो कुछ भी नहीं कर पायी और बस मेरा मोटा और हवस से भरा लंड चुस्ती रही।
जब मुझे लगा की अब उसे भी पूरी तरह से हवस चढ़ चूका है तो मेने उसकी आँखों पर से पट्टी हटा दी।
जब उसने मेरा बड़ा और मोटा लंड देखा तो वो हैरान हो गयी लेकिन उसे अच्छे से चूसने के लिए बेताब भी हो गयी।
फिर मैंने उसके कपडे उतारने शुरू कर दिए और जब वो पूरी तरह से नंगी हुई
तो मैं अपने आप को रोक नहीं पाया उसे चोदने से। हलाकि मेने पहले भी बहुत सी लड़कियों की गुलाबी चुत मारी थी
लेकिन मेरी बहन का फिगर और मोठे मुलायम स्तनो ने मुझे पागल कर दिया था।
मैं उसकी तरह खिंचा चला जा रहा था।
मेने उसे पलंग पर धक्का दिया और अपने कपडे उतार कर उसके ऊपर चढ़ गया।
हम दोनों ने बहुत ही पैशनेट किस की जिसकी वजह से हम दोनों की हवस चरम पर चली गयी।
जब मेने उसके बूब्स को अपने हाथो से रगड़ा और मुँह से चूसा तो उसकी कराहने की आवाज़ मेरे अंदर की मदहोशी को बढ़ा रही थी।
मैं उसकी टांग उठा के उसकी चुत को फाड् देना चाहता था।
लेकिन मेने अपने ऊपर पुरे नियंत्रण रखा क्योकि कुछ ही देर में मेरी माँ वापिस आने वाली थी।
लेकिन जब मैं नीचे को होके उसकी चुत के पास पहुँचा तो मैंने तकरीबन बीस मिनट तक उसकी चुत चाटी।
मेरी बहन पुरे पलंग पर मछली की तरह तड़पने लगी और बहुत सेक्सी तरीके से चिल्लाने लगी।
उसे पहले कभी इतना सुकून नहीं मिला था जितना उसे मेरे उसकी चुत चाटने से मिला।
इसके बाद मेने अपने लंड को उसकी चुत के ऊपर रखा और धीरे धीरे मसलने लगा।
उसके गाल मेरे ऐसा करने से कापने लगे।
मेने धीरे से अपने मोटे और गर्म लंड को उसकी चुत में डाल दिया।
मेरी बहन चिल्ला गयी लेकिन मेने उसकी चींख को रुकने नहीं दिया और लगातार पूरी रफ़्तार से उसे चोदता रहा।
वो पलंग पर नंगी लेटी हुई चींखती रही लेकिन मेने उसे बिलकुल भी नहीं छोड़ा।
उसकी गुलाबी और मुलायम चुत को मेने तकरीबन आधा घंटा चोदा वो भी पूरी रफ़्तार से।
इतनी देर Sex करने के बाद मेरी बहन की चुत से भी पानी निकल गया और उसे चरमसुख की प्राप्ति हुई।
उसने इस से पहले कभी इतने अच्छे से किसी के साथ सेक्स नहीं किया था।
यह उसका मेरे साथ पहली बार नहीं था लेकिन उसे इतना मज़ा पहले कभी नहीं आया था।
उस दिन के बाद से मेरी बहन जब भी हमारे घर आती या मैं उसके घर जाता तो हम दोनों एक दूसरे के साथ यूँही हसींन पल बिताते और एक दूसरे को पूरी तरह से संतुष्ट करते।
तो दोस्तों, आपको मेरी यह कहानी किसी लगी हमे बताना और जितना हो सके अपने दोस्तों को बताना मेरी इस कहानी के बारे में।